राष्ट्रीय लोकदल ने फर्जी मुकदमों को वापस लेने की मांग की


rld demands fake cases to be taken back

 

उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में लोकदल के कार्यकर्ताओं पर दर्ज मुकदमों का मुद्दा गर्मा गया है है. इसको लेकर मुजफ्फरपुर जिला मुख्यालय को पास राष्ट्रीय लोकदल ने पंचायत की और जिला अधिकारी को अपना ज्ञापन सौपा. राष्ट्रीय लोकदल ने इन मुकदमों को फर्जी बताया है और जल्द से जल्द इन्हें वापस लिए जाने की मांग की है.

राष्ट्रीय लोकदल के कार्यकर्ताओं के अलावा दूलरे लोगों पर भी फर्जी मुकदमे लगाने की बात कही जा रही है. सोंटा गाँव के प्रधानपति चौधरी भूपेन्द्र राठी पर धारा 332 और 506 के तहत दर्ज मुकदमों को फर्जी बताया जा रहा है. वहीं टोडा, तितावी, नूनाखेड़ा गांव और थाना बुढ़ाना के दर्जनों राष्ट्रीय लोकदल के कार्यकर्ताओं पर दर्ज मुकदमों को वापस लेने की बात जिला अधिकारी से कही गई है.

बताया जा रहा है कि लोगों ने प्रशासन को चेतावनी भी दी है कि अगर राजनीतिक द्वेष के कारण दर्ज करवाए गए तो वे आरपार की लड़ाई लड़ने को तैयार हैं. लोगों का कहना है कि वे बीजेपी सरकार के बहुमत से झुकने वाले नहीं है और जरूरत पड़ी तो वे सरकार के खिलाफ संघर्ष करेंगे.

जिला मुख्यालय के पास हुई पंचायत को अलग-अलग दलों के नेताओं ने संबोधित किया. इनमें कांग्रेस के पूर्व सांसद हरेंद्र मलिक, राष्ट्रीय लोकदल के जिला अध्यक्ष अजीत राठी और पूर्व मंत्री योगराज सिंह प्रमुख रहे.

अजीत राठी ने बताया कि चुनाव जीतने के बाद सत्ताधारी पक्ष के नेताओं द्वारा उन लोगों पर मुकदमे दर्ज करवाए जा रहे हैं, जिन्होंने चौधरी अजित सिंह को अपना समर्थन दिया. उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय लोकदल तब तक संघर्ष करता रहेगा जब तब फर्जी मुकदमे वापस नहीं हो जाते हैं. वही कांग्रेस के पूर्व सांसद ने भी संघर्ष में साथ देने की बात कही.


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