अजीत पवार को कथित सिंचाई घोटाले में क्लीन चिट
महाराष्ट्र एंटी करप्शन ब्यूरो(एसीबी) ने राज्य के पूर्व जल संसाधन विकास मंत्री अजीत पवार को करोड़ों के कथित सिंचाई घोटाले में क्लीन चिट दे दी है. उद्धव ठाकरे के मुख्यमंत्री बनने से ठीक एक दिन पहले जांच एजेंसी एसीबी ने उन्हें सभी मामलों में क्लीन चिट दी.
27 नवंबर को बंबई हाईकोर्ट में 16 पेज के शपथ पत्र में एसीबी के नागपुर के एसपी रश्मी नांदेदकर ने बयान दिया है, ‘वीआईडीसी के चेयरमैन या डब्लूआरडी मंत्री एजेंसियों के काम के प्रति जिम्मेदार नहीं हैं, इसीलिए कानूनी पक्ष में उनकी कोई भूमिका नहीं है.’
बयान में अजीत पवार के कार्यकाल को विदर्भ इरिगेशन डेवलपमेंट कॉरपोरेशन के चेयरमैन और कांग्रेस-एनसीपी सरकार के जल संसाधन मंत्री के रूप में बताया गया है.
इससे पहले 25 नवंबर को देवेन्द्र फडनवीस ने मुख्यमंत्री और अजीत पवार ने उप मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दिया था. इससे ठीक एक दिन पहले एसीबी ने कथित घोटाले में 9 आरोपों की जांच बंद कर दी थी. जबकि 28 नवंबर को शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस गठबंधन की सरकार उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में शपथ ली थी.