तेलंगाना: 18 में से 12 कांग्रेस विधायकों की टीआरएस में शामिल होने की मांग
पिछले साल दिसंबर में तेलंगाना के विधानसभा चुनाव में बुरी तरह से हारने के बाद अब एक बार फिर से कांग्रेस पार्टी के सामने शर्मनाक स्थित खड़ी हो गई है. तेलंगाना कांग्रेस के 18 में से 12 विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष से मुलाकात कर उन्हें तेलंगाना राष्ट्र समिति के विधायक दल में शामिल किए जाने की मांग की है.
नियम के हिसाब से किसी भी दूसरे दल में विलय के लिए दो तिहाई चुने गए प्रतिनिधियों की सहमति होनी जरूरी है. तेलंगाना कांग्रेस के कुल 19 में से 12 विधायकों ने अपनी वफादारी तेलंगाना राष्ट्र समिति की ओर कर दी है.
वहीं कांग्रेस की विधायी परिषद ने पहले ही अपना विलय तेलंगाना राष्ट्र समिति में कर दिया है. पार्टी के चार में से तीन एमएलसी टीआरएस में शामिल हो चुके हैं.
इससे पहले पांच जून को तेलंगाना प्रदेश कांग्रेस समिति के प्रमुख एन उत्तम कुमार रेड्डी ने नलगोंडा से अपनी जीत के बाद हुजूरनगर सीट से अपने पद से इस्तीफा दे दिया.
रेड्डी के इस्तीफे ने विलय के लिए जरूरी विधायकों की संख्या को और कम कर दिया. इसके साथ उत्तम कुमार रेड्डी ने दूसरे कांग्रेसी विधायकों के साथ विधानसभा के अंदर स्थित गांधी प्रतिमा के सामने विलय के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया.
कांग्रेस ने आरोप लगाया कि सत्ताधारी दल विपक्ष को पूरी तरह से दबाने का प्रयास कर रहा है और इसके लिए पैसों का भी प्रयोग किया जा रहा है.