सितंबर में पाकिस्तान जाएगी भारतीय डेविस कप टीम


indian davis cup team is set to visit pakistan in september

 

55 सालों में पहली बार एक भारतीय टीम पाकिस्तान जाकर डेविस कप टाई मुकाबला खेलेगी. ऑल इंडिया टेनिस एशोसिएसन ने ‘एशिया/ओसियाना ग्रुप वन अवे टाई’ मुकाबले में भारतीय टीम के भाग लेने की बात की पुष्टि की है. डेविस कप का यह मुकाबला इस्लामाबाद के पाकिस्तान स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में 14 और 15 सितंबर को खेला जाएगा.

ऑल इंडिया टेनिस एशोसिएसन ने बताया, “हां, हम जा रहे हैं. यह टेनिस का विश्व कप है ना की कोई द्विपक्षीय सीरीज, इसलिए इसमें किसी भी प्रकार का कोई प्रतिबंध नहीं है.”

पिछले एक दशक में पाकिस्तान में आयोजित हुई खेल प्रतियोगिताओं में भारत ने हिस्सा नहीं लिया है. आखिरी बार 2007 में भारतीय क्रिकेट टीम पाकिस्तान के दौरे पर गई थी.

डेविस कप का ड्रॉ फरवरी में आया था, लेकिन पुलवामा हमले से उपजे तनाव की वजह से भारतीय टीम के पाकिस्तान जाने की संभावना ना के बराबर थी. हालांकि, पिछले महीने खेल मंत्रालय ने यह साफ किया कि डेविस कप टाई मुकाबले में खेलना पूरी तरह से ऑल इंडिया टेनिस एशोसिएसन पर निर्भर है.

ऑल इंडिया टेनिस एशोसिएसन ने भी अपना फैसला अंतरराष्ट्रीय टेनिस महासंघ द्वारा खेल की जगह का सुरक्षा जायजा लेने के बाद लिया.

आखिरी बार भारतीय टीम ने पाकिस्तान से डेविस कप टाई मुकाबला 2006 में मुंबई में खेला था. इस मुकाबले में भारतीय टीम ने 3-2 से जीत हासिल की थी और पाकिस्तान के खिलाफ अपनी टैली 6-0 कर ली थी.

बताया जा रहा है कि डेविस कप के कप्तान महेश भूपति और कोच जीशान अली इस मुकाबले में भारत के तीन शीर्ष सिंगल्स खिलाड़ियों प्रजनेश गुन्नेस्वरण, रामकुमार रामनाथन और सुमित नागपाल को उतारेंगे, वहीं डबल्स मुकाबले में भारत के दो शीर्ष डबल्स विशेषज्ञ रोहन बोपन्ना और दिविज शरन उतरेंगे. इस मुकाबले का विजेता अगले साल होने वाले वर्ल्ड ग्रुप प्ले ऑफ्स में जगह बनाएगा.

भारतीय टेनिस टीम के इस दौरे को दोनों देशों के बीच खेल संबंध सामान्य करने की दिशा में एक छोटे से कदम के रूप में देखा जा सकता है. इस साल की शुरुआत में भारत ने पाकिस्तानी निशानेबाजों को वीजा नहीं दिया था. इसके बाद अंतरराष्ट्रीय खेल बिरादरी द्वारा डाले गए दबाव की वजह से भारत को अपना रुख लचीला करना पड़ा था.

पिछले महीने सरकार ने कहा था कि वह पाकिस्तानी खिलाड़ियों को भारत में आयोजित होने वाली खेल प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने से नहीं रोकेगी. हालांकि, ऐतिहासिक रूप से देखा जाए तो दोनों देशों के बीच रिश्तों को सामान्य तब ही माना जाता है, जब दोनों के बीच द्विपक्षीय क्रिकेट सीरीज खेली जाती है.


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