नकली दावों और दिखावटी घोषणाओं से भरा हुआ है आर्थिक सर्वे: सीताराम येचुरी
केंद्र सरकार द्वारा पेश की गई आर्थिक समीक्षा को लेकर सीपीएम के महासचिव ने सरकार पर निशाना साधा है. सीताराम येचुरी ने आरोप लगाया है कि आर्थिक सर्वेक्षण नकली दावों और दिखावटी घोषणाओं से भरा हुआ है, इसमें तथ्यों पर कहीं कोई बात नहीं की गई है.
सीताराम येचुरी ने यह भी कहा कि यह आर्थिक सर्वेक्षण पिछले पांच सालों में आर्थिक मोर्चे पर केंद्र सरकार द्वारा किए गए भयावह प्रदर्शन को क्लीन चिट दे रहा है. इसके साथ ही उन्होंने शीर्ष आरबीआई अधिकारियों के इस्तीफों को लेकर भी केंद्र सरकार पर निशाना साधा.
सीताराम येचुरी ने ट्वीट करते हुए कहा, “तथ्यहीन आर्थिक सर्वेक्षण आडंबरपूर्ण दावों और दिखावटी घोषणाओं से भरा हुआ है. निजी निवेश पर आधारित कोई भी आर्थिक वृद्धि योजना कारगर साबित नहीं होगी. आर्थिक वृद्धि के लिए लोगों की क्रय शक्ति को बढ़ाना जरूरी है. लगातार बढ़ती जा रही बेरोजगारी के साथ निवेश बढ़ाने से कोई फायदा नहीं होगा.”
उन्होंने आगे कहा, “इस सर्वे में लाखों भारतीयों द्वारा झेली जा रही परेशानियों को नजरअंदाज कर दिया गया है. सर्वे में आर्थिक मोर्चे पर पिछले पांच सालों में सरकार के भयावह प्रदर्शन को लेकर भी कुछ नहीं कहा गया है.”
अंत में उन्होंने कहा, “पिछले मुख्य आर्थिक सलाहकार और आरबीआई के बहुत से अधिकारियों के इस्तीफे हमें सच्चाई से रूबरू करवाते हैं.”
केंद्र सरकार ने आर्थिक सर्वेक्षण 2018-19 संसद में पेश किया है. सर्वेक्षण में सरकार ने वित्त वर्ष 2019-20 में आर्थिक विकास दर के सात फीसदी रहने का अनुमान लगाया है. सरकार ने इस दौरान आर्थिक हालात स्थिर रहने की आशा भी जताई है.
इस सर्वे में सरकार ने कहा है कि वित्त वर्ष 2018-19 में जीडीपी वृद्धि दर पिछले पांच साल के निचले स्तर 6.8 फीसदी पर रही.