आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने का सिर्फ अनुरोध कर सका: जगनमोहन रेड्डी


YSR chief Jaganmohan Reddy meets PM narendra Modi

 

वाईएसआर कांग्रेस प्रमुख वाईएस जगनमोहन रेड्डी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से मुलाकात के दौरान उनकी पार्टी 2.58 लाख करोड़ रुपये कर्ज के बोझ तले दबे आंध्र प्रदेश को विशेष दर्जा देने के लिए सिर्फ अनुरोध कर सकी है. आंध्र प्रदेश के नामित मुख्यमंत्री रेड्डी ने जोड़ा कि वह नरेन्द्र मोदी से मांग नहीं कर सके.

रेड्डी ने कहा कि यह वाईएसआर कांग्रेस के लिए ‘अद्भुत क्षण’ होता, यदि एनडीए ने केवल 250 सीटें जीती होती लेकिन लोकसभा चुनाव में उसे 353 सीटें मिली. उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए उन्हें (सरकार बनाने के लिए) हमारी जरूरत नहीं है, वे मजबूत हैं.’’

वहीं, आंध्र प्रदेश में हुए विधानसभा और लोकसभा चुनावों में रेड्डी की पार्टी ने प्रचंड जीत हासिल की है. रेड्डी ने कहा कि उन्होंने प्रधानमंत्री से आंध्र प्रदेश के लोगों के प्रति ‘उदार’ होने का अनुरोध किया.

वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के प्रमुख ने बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह से भी मुलाकात की और इस मुद्दे पर उनका समर्थन मांगा.

नरेन्द्र मोदी के आवास पर बैठक के बाद रेड्डी ने पत्रकारों से कहा, ‘‘आज, हम यह (विशेष श्रेणी का दर्जा) प्राप्त नहीं कर सके हैं. हमें किसी की कृपा पर निर्भर होना है लेकिन मैं उन्हें (मोदी) बार-बार याद दिलाऊंगा कि किसी दिन चीजें बदल जाएंगी.’’

रेड्डी ने कहा, ‘‘लेकिन हां, हमने प्रधानमंत्री से मुलाकात की और उन्हें बताया कि हमारे लिए विशेष श्रेणी का दर्जा इतना महत्वपूर्ण क्यों है.’’

उन्होंने कहा कि उन्होंने प्रधानमंत्री को बताया कि कर्ज के बोझ तले दबे इस राज्य के लिए विशेष राज्य का दर्जा एक ‘संजीवनी’ की तरह है क्योंकि आंध्र प्रदेश को धन की जरूरत है. राज्य को कुशलता से चलाने के लिए प्रधानमंत्री के समर्थन की जरूरत है.

रेड्डी ने कहा, ‘‘आज, राज्य पर कर्ज का बोझ बहुत अधिक है. जब राज्य का विभाजन हुआ था तो इस पर कर्ज 97,000 करोड़ रुपये था. पिछले पांच वर्षों में, हमारा ऋण 2.58 लाख करोड़ रुपये तक बढ़ गया है. हमारी ब्याज अदायगी ही 20,000 करोड़ रुपये प्रति वर्ष है.’’

उन्होंने कहा कि वह खुश है कि प्रधानमंत्री ने उन्हें धैर्य के साथ सुना.


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