सेना ने पहले भी की हैं सर्जिकल स्ट्राइक जैसी कार्रवाई: लेफ्टिनेंट जनरल हुड्डा


army had done such surgical strikes before also say's hooda

 

लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) डीएस हुड्डा का कहना है कि भारतीय सेना मोदी सरकार के आने से पहले भी सर्जिकल स्ट्राइक जैसी कार्रवाई करती रही है. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि भारतीय सेना का चुनावी अभियान में इस्तेमाल किया जाना अच्छा संकेत नहीं है.

जयपुर में एक संगोष्ठी में भाग लेने आए हुड्डा से जब कांग्रेस के इस दावे के बारे में पूछा गया कि यूपीए सरकार के कार्यकाल में भी छह सर्जिकल स्ट्राइक हुईं थी तो उन्होंने कहा, ” सेना ने ऐसा पहले भी किया है. लेकिन मुझे इसकी तारीख और ये किन इलाकों में हुईं इसके बारे में ठीक-ठीक पता नहीं है.”

लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा ने कहा, ‘‘अब इसे सर्जिकल स्ट्राइक कहें या सीमापार कार्रवाई लेकिन सेना ने पहले भी ऐसा किया है.”

हुड्डा ने बालाकोट में भारतीय वायुसेना की कार्रवाई की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए जाने कहा, ‘‘ मुझे नहीं लगता कि इस बारे में भारतीय वायुसेना, वायुसेना अध्यक्ष द्वारा दिए गए आधिकारिक बयान पर शक करने की कोई वजह है. उन्होंने कहा था कि हमने तय लक्ष्यों पर हमला किया. मुझे नहीं लगता कि वायुसेना अध्यक्ष ने इन हमलों में जानमाल के नुकसान के बारे में कोई बात कही थी.’’

उन्होंने संचार क्षेत्र में चीनी प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल पर कहा,” यह बहुत ही गंभीर बात है. हमारे दूरसंचार क्षेत्र के ज्यादातार हार्डवेयर चीनी हैं. हम इन कंपनियों के चीन की सरकार से संबंधों के बारे में जानते हैं. मुझे लगता है कि यह बहुत ही गंभीर मसला है और हमें कम से कम हमारे अति महत्व वाले क्षेत्रों में भारत निर्मित हार्डवेयर पर विचार करना चाहिए.’’

संगोष्ठी में हुड्डा ने कहा कि भारतीय सेना का इस्तेमाल चुनावी अभियानों में करना ठीक नहीं है और यह बात हमारा निर्वाचन आयोग भी कह चुका है.

कांग्रेस इससे पहले कई बार दावा कर चुकी है कि मनमोहन सिंह की सरकार के कार्यकाल में भी छह सर्जिकल स्ट्राइक हुईं थी.


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