जमीनी स्थिति के बारे में रिपोर्ट नहीं कर पा रहे पत्रकार: कश्मीर प्रेस क्लब


bdc polls in jk what it really means

 

कश्मीर प्रेस क्लब (केपीसी) ने घाटी में ‘अप्रत्याशित संचार पाबंदी’ को लेकर गंभीर चिंता प्रकट की और कुछ वरिष्ठ पत्रकारों को कथित रूप से सरकारी आवास खाली करने के लिए कहे जाने पर प्रशासन की आलोचना की है.

केपीसी ने कहा कि यह कुछ नहीं बल्कि पत्रकारों को झुकाने के लिए किया जा रहा उत्पीड़न है.

कश्मीर में मीडिया और पत्रकारों पर लगी पाबंदियों की निंदा करते हुए क्लब की कार्यकारी समिति ने अपनी बैठक में कहा कि ‘अप्रत्याशित संचार पाबंदी’ के चलते मोबाइल, इंटरनेट एवं लैंडलाइन के प्रभावित रहने से पत्रकारों का कामकाज ठप पड़ गया है और वे जमीनी स्थिति के बारे में रिपोर्ट नहीं कर पा रहे हैं.

उसने एक बयान में कहा कि पांच अगस्त को संचार पाबंदी लगने के बाद से क्लब ने कई बार प्रशासन के सामने यह मुद्दा उठाया और पत्रकारों एवं मीडिया संगठनों के लिए मोबाइल, इंटरनेट और लैंडलाइन बहाल करने की अपील की लेकिन सारे प्रयास व्यर्थ गए.

बयान में कहा गया है, ‘‘कश्मीर प्रेस क्लब मांग करता है कि सरकार पत्रकारों और मीडिया संगठनों के लिए इंटरनेट और टेलीफोन सुविधा बहाल करे.’’


ताज़ा ख़बरें