ननकाना साहिब जाने से रोकने के बाद भारत की चेतावनी


humiliation of high commission in Pakistan

 

भारत सरकार ने भारतीय उच्चायोग के अधिकारियों को प्रताड़ित करने के मामले में पाकिस्तान को कड़े शब्दों में चेतावनी दी है. विदेश मंत्रालय की ओर से जारी बयान में 21 नवंबर और 22 नवंबर को गुरुद्वारा ननकाना साहिब और सच्चा सौदा जाने से अधिकारियों को रोके जाने पर आपत्ति जताई है.

यह गतिरोध करतारपुर गलियारे पर दोनों देशों के बीच सहमति के 24 घंटे बाद सामने आया है.

मामले में विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार को एक बयान जारी कर कहा, “पाकिस्तान के विदेश मामलों के मंत्रालय ने यात्रा की अनुमति पहले दे दी थी. इसके बावजूद, इस्लामाबाद में भारत उच्चायोग अधिकारियों को 21 नवंबर और 22 नवंबर को गुरुद्वारा ननकाना साहिब और सच्चा सौदा जाने से रोक दिया गया.”

अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक पाकिस्तान में यात्रियों को खालिस्तान के बैनर दिखाए गए हैं.

विदेश मंत्रालय ने इसपर आपत्ति जताते हुए इसे भारत की संप्रुभता और अखंडता पर हमला करार दिया है. जारी बयान में कहा गया है कि पाकिस्तान भारत के खिलाफ ‘शत्रुतापूर्ण प्रचार’ और ‘अलगाववादी प्रवृत्तियों’ को  बढ़ावा देने के लिए अपनी जमीन का इस्तेमाल नहीं होने दे.

21 नवंबर को मंत्रिमंडल ने गुरदासपुर के डेरा बाबा नानक गांव से पाकिस्तान के गुरुद्वारा दरबार साहिब करतारपुर के लिए करतारपुर गलियारे के विकास को मंजूरी दी थी. पाकिस्तान ने भी इसपर सहमति जताई थी.

यह एक चार किलोमीटर का गलियारा है. भारत और पाकिस्तान दोनों के पास इसका दो-दो किलोमीटर हिस्सा आता है.


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