अब भारत-यूएई के कारोबार में डॉलर से निर्भरता खत्म


Now the dependence of the dollar in the trade of Indo-UAE is over

  PTI

भारत और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने परस्पर मुद्रा अदला-बदली की व्यवस्था समेत दो समझौतों पर सहमति जताई है. इस व्यवस्था के बाद दोनों देशों के बीच व्यापार में वैश्विक करेंसी डॉलर या किसी दूसरी करेंसी से निर्भरता खत्म हो गई है. अब भारतीय रुपया और यूएई के दिरहम के बीच सीधा विनमय हो पाएगा. इससे भारत में निवेश सहित आयात-निर्यात को बढ़ावा मिलेगा.

अंग्रेजी अखबार गल्फ न्यूज में 14 फरवरी 2018 को छपी खबर के मुताबिक यूएई में भारत के राजदूत नवदीप सूरी ने कहा था कि मुद्रा बदली प्रक्रिया को पूरा कर लिया गया है. इसी महीने प्रधानमंत्री ने यूएई की यात्रा की थी. लेकिन उस समय यह डील पूरा नहीं हो पाई थी.

फिलहाल एक यूएई दिरहम  19.23 भारतीय रुपए के बराबर है.  डॉलर की अपेक्षा रुपए के भाव लगातार घटने की वजह से पेट्रोलियम सहित अन्य आयात लगातार महंगे होते जा रहे हैं. ताजा अपडेट के मुताबिक एक डॉलर 70 रुपए के पार पहुंच चुका है.

विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने तीन दिसंबर को यूएई के विदेश मंत्री शेख अब्दुल्ला बिन जायेद के साथ रक्षा, आतंकवाद निरोधी उपाय, व्यापार और ऊर्जा समेत विभिन्न मुद्दों पर व्यापक विचार-विमर्श के बाद दोनों समझौते किये.

स्वराज यूएई-भारत संयुक्त आयोग की बैठक (जेसीएम) में हिस्सा लेने के लिए तीन दिसंबर को यूएई पहुंची हैं.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्विटर पर लिखा है, ‘‘व्यापक रणनीतिक भागीदारी को आगे बढ़ाते हुए विदेशी मंत्री सुषमा स्वराज और विदेश मंत्री शेख अब्दुल्ला बिन जायेद ने 12वें भारत-यूएई जेसीएम की सह-अध्यक्षता की. ऊर्जा, सुरक्षा, व्यापार, निवेश, अंतरिक्ष, रक्षा समेत अन्य क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर गहन बातचीत हुई.’’

आर्थिक और तकनीकी सहयोग के लिए भारत-यूएई संयुक्त आयोग का यह 12वां सत्र है.

कुमार ने लिखा है, ‘‘…विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की यूएई यात्रा के दौरान मुद्रा अदला-बदली को लेकर समझौता हुआ और अफ्रीका में विकास सहयोग के लिये सहमति पत्र (एमओयू) पर दस्तखत किये गये.’’

दो देशों के बीच मुद्रा अदला-बदली समझौता संबंधित देश को अपनी मुद्रा में कारोबार और आयात और निर्यात कारोबार के लिये अमेरिकी डॉलर जैसे तीसरे मानक मुद्रा को बीच में लाये बिना पूर्व निर्धारित विनिमय दर पर भुगतान की अनुमति देता है.

 

दूसरे समझौते से दोनों पक्ष अफ्रीका में विकास परियोजनाओं को आगे बढ़ा सकेंगे.

कुमार ने ट्वीट किया, ‘‘दोनों देशों के बीच गहरी मित्रता को और प्रगाढ़ बनाया गया..दोनों मंत्रियों ने इसे जारी रखने पर सकारात्मक रुख जताया और नये क्षेत्रों में भागीदारी पर जोर दिया.’’

बाद में विदेश मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा कि दोनों नेताओं ने रक्षा, सुरक्षा, आतंकवाद निरोधक उपायों, व्यापार, ऊर्जा, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी और नागर विमानन समेत आपसी हितों से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की.

बैठक के बाद दोनों नेताओं जेसीएम के ब्योरो पर हस्ताक्षर किये.

स्वराज ने अबु धाबी के शहजादा शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान से भी मुलाकात की.

दोनों देश बड़े व्यापार भागीदार हैं और दोनों के बीच द्विपक्षीय व्यापार करीब 50 अरब डॉलर है. भारत में होने वाले तेल आयात का यूएई छठा सबसे बड़ा स्रोत है.

स्वराज और अब्दुल्ला ने डिजिटल संग्रहालय का संयुक्त रूप से उद्घाटन किया. इसमें महात्मा गांधी और आधुनिक यूएई के संस्थापक शेख जायेद के जीवन, उनके कार्यों, दर्शन को प्रदर्शित किया गया है.

महात्मा गांधी के 150वीं जयंती समारोह और शेख जायेद की जयंती के शताब्दी समारोह के मौके पर अबु धाबी में गांधी-जायेद डिजिटल संग्रहालय स्थापित किया गया है.

बाद में स्वराज ने भारतीय समुदाय के लोगों से बातचीत की और यूएई के साथ रिश्तों को प्रगाढ़ बनाने में रनकी भूमिका की सराहना की.


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