विज्ञापन में पीएम मोदी के साथ बलात्कार के आरोपी विधायक सेंगर की तस्वीर


Photo of MLA Sengar and PM Modi in newspaper advertisement

 

बीजेपी के एक स्थानीय नेता ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ बलात्कार के आरोपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की तस्वीरों का विज्ञापन राष्ट्रीय दैनिक अखबारों में दिया है. मोदी सहित बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं के साथ यह शुभकामना संदेश स्वतंत्रता दिवस के मौके पर दिया गया. विधायक को कुछ दिन पहले बीजेपी ने पार्टी से निकाला है.

उन्नाव के एक प्रमुख हिन्दी दैनिक में उंगू नगर पंचायत के अध्यक्ष अनुज कुमार दीक्षित ने स्वंतत्रता दिवस पर एक विज्ञापन दिया. इस विज्ञापन में कुलदीप सिंह सेंगर और उनकी पत्नी तथा जिला पंचायत अध्यक्ष संगीता सिंह सेंगर की तस्वीरें हैं.

सेंगर बांगरमऊ विधानसभा सीट से विधायक हैं और उंगू उनके विधानसभा क्षेत्र में ही आता है.

बताया जाता है कि दीक्षित को बीजेपी में लाने में सेंगर की अहम भूमिका थी.

विज्ञापन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और उत्तर प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष हरदय नारायण दीक्षित की भी तस्वीरें हैं.

सेंगर की फोटो के बारे में जब संवाददाताओं ने उंगू नगर पंचायत के अध्यक्ष दीक्षित से पूछा तो उन्होंने अपना बचाव करते हुये कहा ”ऐसा इसलिये हुआ क्योंकि वह हमारे इलाके के विधायक हैं.”

बीजेपी ने हालांकि विवाद से खुद को अलग रखा.

पार्टी प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने लखनऊ में बताया ‘‘सेंगर की तस्वीर विज्ञापन में देना किसी की निजी पसंद हो सकती है. पार्टी और सरकार का इससे कोई लेना-देना नहीं है.’’

उन्होंने कहा ‘‘पार्टी और सरकार को जो करना था, वह कर किया जा चुका है. हमारी सेंगर के साथ कोई सहानुभूति नहीं है.”

यह विज्ञापन बीजेपी के लिये शर्मिंदगी की एक और वजह के तौर पर देखा जा रहा है. कुछ ही दिन पहले हरदोई के विधायक आशीष सिंह आशू ने सेंगर के प्रति सहानुभूति जताते हुये कहा था कि यह उनके लिये कठिन समय है और उम्मीद है कि वह जल्दी ही इससे उबर जाएंगे.

बीजेपी ने तब आशू के बयान से यह कहते हुए किनारा कर लिया था कि यह विधायक की निजी राय हो सकती है .

सेंगर पर 2017 में एक नाबालिग लड़की से अपने उन्नाव स्थित आवास पर बलात्कार करने का आरोप है. तब पीड़िता की उम्र 17 साल थी.

सेंगर को कुछ ही दिन पहले बीजेपी से निष्कासित कर दिया गया था.

पिछले साल अप्रैल में पीड़िता ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आवास के बाहर आत्मदाह करने की कोशिश की थी. घटना के बाद एक मामला दर्ज किया गया था.

इस घटना के अगले दिन पीड़िता के पिता की पुलिस की हिरासत में मौत हो गई थी.

27 जुलाई को पीड़िता और उसके परिवार को लेकर जा रही कार को तेज रफ्तार ट्रक ने टक्कर मार दी थी. दुर्घटना में पीड़िता की मौसी और चाची की मौत हो गई जबकि पीड़िता और उसके वकील गंभीर रूप से जख्मी हो गये थे .

पीड़िता और वकील को पहले लखनऊ के केजीएमयू ट्रॉमा सेंटर में भर्ती किया गया. बाद में सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर उन्हें दिल्ली के एम्स में भर्ती कराया गया था जहां अभी उनका इलाज चल रहा है.

परिजनों का आरोप था कि पीड़िता को मारने के लिये ट्रक ने जानबूझकर कार में टक्कर मारी थी.


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