एरिक्सन की याचिका पर अनिल अंबानी सुप्रीम कोर्ट में


Anil Ambani's Reliance group withdraws defamation suit

 

एरिक्सन इंडिया की ओर से दायर अवमानना याचिका मामले में रिलायंस कम्युनिकेशन लिमिटेड (आरकॉम) के चेयरमैन अनिल अंबानी आज सुप्रीम कोर्ट में पेश हुए. कोर्ट ने अनिल अंबानी को कल भी पेश होने के लिए कहा है.

एरिक्सन इंडिया की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील दुष्यंत दवे ने कहा कि अनिल अंबानी की कंपनी आरकॉम ने दो बार कोर्ट की अवमानना की है, क्योंकि कंपनी की ओर से दो बार अदालत में कहने के बावजूद उसके बकाया पैसे नहीं चुकाए गए.

पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने इसी मामले में अनिल अंबानी को निजी तौर पर पेश होने का आदेश दिया था.

दरअसल एरिक्सन इंडिया का रिलायंस कम्युनिकेशंस पर 550 करोड़ रुपये बकाया है. यह राशि नही मिलने पर एरिक्सन ने अनिल अंबानी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी. इस पर कोर्ट ने पहले कहा था कि आरकॉम सिंतबर के आखिरी तक एरिक्सन को भुगतान कर दे. लेकिन उसने ऐसा नहीं किया. इसके बाद एरिक्सन ने अवमानना याचिका दायर की.

एरिक्सन ने कहा कि आरकॉम ने जियो के साथ असेट बिक्री की प्रक्रिया का हवाला देते हुए कोर्ट से समय मांगा था और उसने बिक्री के बाद भी पैसा नहीं दिया. अंत में कोर्ट ने 23 अक्टूबर के आदेश में उसे 15 दिसंबर तक भुगतान करने का आखिरी मौका दिया था. साथ ही कहा था कि ऐसा नहीं होता है तो एरिक्सन इंडिया फिर से अवमानना याचिका लगाने की हकदार होगी.

एरिक्सन ने अपनी याचिका में अनिल अंबानी तथा दो अन्य के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई शुरु करने की मांग करने के साथ ही उन्हें बकाया भुगतान करने तक सिविल जेल में हिरासत में रखने की भी मांग की है.

कंपनी ने अनिल अंबानी, आरकॉम के चैयरमैन सतीश सेठ और रिलायंस इंफ्राटेक लिमिटेड की चैयरपर्सन छाया विरानी के देश छोड़ने पर रोक लगाने की भी मांग गृह मंत्रालय से की है.

याचिका में कहा गया है कि इन लोगो ने कोर्ट की अवमानना की है और उन्हें 24 अक्टूबर 2018 के कोर्ट के आदेश के मद्देनजर उन्हें 12 प्रतिशत ब्याज सहित 550 करोड़ रुपये की राशि का भुगतान करने तक सिविल जेल में हिरासत में रखा जाना चाहिए.

एरिक्सन इंडिया ने साल 2014 में आरकॉम का टेलिकॉम नेटवर्क संभालने के लिए 7 साल की डील की थी. उसका आरोप है कि आरकॉम ने 1500 करोड़ रुपए की बकाया रकम नहीं चुकाई. दिवालिया कोर्ट में सेटलमेंट प्रक्रिया के तहत एरिक्सन इस बात के लिए राजी हुईं कि आरकॉम सिर्फ 550 करोड़ रुपये का भुगतान कर दे. कोर्ट ने 30 मई 2018 को अंतरिम आदेश दिया कि आरकॉम 120 दिन में भुगतान करे.


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