टेरिजा मे के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव गिरा,19 वोटों से बची सरकार
ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरिजा मे के खिलाफ बुधवार को संसद में लाया गया अविश्वास प्रस्ताव गिर गया है. 325 सांसदों ने उनकी सरकार का समर्थन किया जबकि 306 सांसदों ने उनके विरोध में मतदान किया. इस तरह टेरिजा मे 19 वोटों के अंतर से अपनी सरकार बचाने में कामयाब रहीं.
मंगलवार को ब्रेक्जिट समझौते को लेकर संसद में उनकी हार के बाद यह फैसला टेरिजा सरकार के लिए कुछ राहत लेकर आया है, लेकिन यूरोपीय संघ के साथ उनके ब्रेक्जिट समझौते पर अभी भी स्थिति साफ होती नहीं दिखाई दे रही है.
यूरोपीय संघ से ब्रिटेन को अलग करने वाली प्रधानमंत्री टेरिजा के प्रस्ताव पर मंगलवार को संसद में वोटिंग हुई थी. ब्रेग्जिट समझौते के पक्ष में 202 वोट तो विरोध में 432 वोट पड़े थे. यहां तक कि उनकी कंजरवेटिव पार्टी के 118 सांसदों ने भी विपक्षी खेमे के साथ मिलकर इस बिल के खिलाफ वोटिंग की थी.
इसके बाद विपक्षी लेबर पार्टी टेरिजा मे सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाई थी जिस पर बुधवार देर रात वोटिंग कराई गई. इस वोटिंग में टेरिजा मे के पक्ष में 325 तो विपक्ष में 306 सांसदों ने मतदान किया.
बुधवार को संसद में सांसदो के सवालों का जवाब देते हुए टेरिजा मे ने कहा कि उन्हें इस बात का बेहद अफसोस है कि विपक्षी लेबर पार्टी ब्रेग्जिट समझौते का लगातार विरोध कर रही है. जबकि यह फैसला ब्रिटेन के बेहतर भविष्य के लिए लिया गया है.
उन्होंने कहा कि भले ही इस फैसले में विपक्ष लेबर पार्टी ने अबतक उनका साथ न दिया हो लेकिन उनके लिए दरवाज़े हमेशा खुले रहेंगे.
टेरिजा ने कहा कि मैं जानती हूं कि यह इतना आसान नहीं है लेकिन मुझे उम्मीद है के संसद में मौजूद हर सांसद अपनें खुद के हितों को दरकिनार कर देश के हित में सोचेंगे और यूरोपीय संघ से ब्रिटेन को अलग करने वाले उनके प्रस्ताव का आगे समर्थन करेंगे.
वहीं, डीयूपी के नेता निगेल डॉड्स ने थेरेसा की जीत का पूरा श्रेय अपने सांसदों को देते हुए कहा कि टेरिजा को उनका यह एहसान याद रख जल्द से जल्द उनकी पार्टी की समस्याओं का हल करना चाहिए.
इस जीत के बाद मे की सरकार गिरने का संकट फिलहाल टल गया है. लेकिन यह देखना बाकी है कि ब्रेग्जिट समझौते पर कैसे और क्या समाधान निकल पाता है. वही अपनी सरकार बनाए रखने के लिए टेरिजा मे को प्लान बी साथ ले कर चलना होगा.