‘विलुप्त होती प्रजातियों को बचाना’ है पृथ्वी दिवस का संकल्प


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22 अप्रैल को पृथ्वी दिवस के रुप में मनाया जाता है. पर्यावरण के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए हर साल 22 अप्रैल के दिन ‘पृथ्वी दिवस’ मनाने की शुरुआत की गई थी.

इस दिन पर्यावरण की रक्षा करने का संकल्प लिया जाता है. इस साल ‘पृथ्वी दिवस’ की थीम पेड़-पौधों और जीवों की प्रजाति की रक्षा करना है. पिछले साल पृथ्वी दिवस की ‘थीम प्लास्टिक’ से मुक्ति थी.

मानवीय गतिविधियों के कारण जलवायु परिवर्तन, ग्लोबल वार्मिंग जैसी समस्या सामने आ रही है. मनुष्य ने वनों की कटाई कर पर्यावरण को और भी नुकसान पहुंचाया है. जिससे कई प्रजातियां लुप्त हो रही हैं.

इस दिन की शुरुआत 1970 में हुई और उस समय 192 देशों ने इसे अपनाया था.

‘पृथ्वी दिवस’ की शुरुआत एक अमेरिकी सीनेटर गेलॉर्ड नेल्सन ने की थी. साल 1969 में कैलिफोर्निया के सांता बारबरा में तेल रिसाव के कारण भारी बर्बादी हुई थी, इस कारण पृथ्वी को बहुत हानि हुई थी. तब पर्यावरण की रक्षा के लिए कैलिफोर्निया के लोगों ने कुछ करने का फैसला किया.

22 जनवरी 1969 को समुद्र में तीन मिलियन गैलेन तेल रिसाव हुआ था. जिससे 10,000 सीबर्ड, डॉल्फिन, सील और सी लायन्स मारे गए थे. इसके बाद गेलॉर्ड नेल्सन के कहने पर 22 अप्रैल 1970 को दो करोड़ अमेरिकी लोगों ने पृथ्वी दिवस के आयोजन में पहली बार भाग लिया था.


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