छह महीने और लगा रहेगा जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन


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गृह मंत्री अमित शाह का जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन को छह महीने बढ़ाने का प्रस्ताव पास हो गया है. इस प्रस्ताव का कांग्रेस पार्टी ने विरोध किया था. साथ ही कांग्रेस पार्टी ने आरोप लगाया है कि जम्मू-कश्मीर की खराब हालत के लिए बीजेपी-पीडीपी का गठबंधन जिम्मेदार है.

राष्ट्रपति शासन को बढ़ाए जाने के प्रस्ताव के साथ अमित शाह द्वारा पेश किया गया जम्मू-कश्मीर आरक्षण अधिनियम, 2004 में संशोधन करने वाला विधेयक भी पारित हो गया है.

इससे पहले कश्मीर समस्या के लिए कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराते हुए अमित शाह ने लोक सभा में कहा कि जम्मू-कश्मीर की जनता का कल्याण हमारी प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर की जनता को अगर ज्यादा भी देना पड़े तो दिया जाएगा क्योंकि उन्होंने बहुत दुख सहा है.

गृह मंत्री अमित शाह ने कश्मीर समस्या के लिए भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को जिम्मेदार ठहराया. उन्होंने आरोप लगाया कि जब भारतीय सेना पाकिस्तानी घुसपैठियों को मुंहतोड़ जवाब दे रही थी, तब नेहरू ने युद्ध विराम का आदेश दिया.

जम्मू-कश्मीर आरक्षण अधिनियम, 2004 में संशोधन करने वाला विधेयक पेश करते हुए उन्होंने कहा कि ऐसा होने के बाद इससे लाइन ऑफ एक्शन के पास रह रहे करीब साढ़े तीन लाख लोगों को फायदा मिलेगा.


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