कर्नाटक में फोन टैपिंग के आरोपों की जांच करेगी सीबीआई: येदियुरप्पा
कर्नाटक में जद(एस) के नेतृत्व वाली पूर्ववर्ती गठबंधन सरकार के समय फोन टैपिंग होने के आरोपों पर मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा ने कहा कि वह इसकी सीबीआई जांच का आदेश देंगे.
मुख्यमंत्री ने अपने इस फैसले के पीछे कांग्रेस सहित कई नेताओं की मांगों का जिक्र किया.
वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने कहा कि वह किसी ‘‘अंतरराष्ट्रीय एजेंसी’’ से भी किसी जांच के लिए तैयार हैं. हालांकि, उनकी गठबंधन सहयोगी कांग्रेस इस मुद्दे पर बंटी हुई नजर आ रही है.
येदियुरप्पा नेकहा, ‘‘फोन टैपिंग के मुद्दे पर कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्धरमैया समेत कई नेताओं ने कहा है कि इसकी जांच होनी चाहिए और सच्चाई सामने आनी चाहिए, इसलिए मैंने सीबीआई जांच का आदेश देने का फैसला किया है. कल ही मैं जांच का आदेश दूंगा.’’
उन्होंने कहा कि यह राज्य के लोगों की अपेक्षा है कि विस्तृत जांच होनी चाहिए और दोषियों को सजा मिलनी चाहिए.
येदियुरप्पा ने यह घोषणा ऐसे समय की है जब इस बारे में संकेत हैं कि इस मामले को लेकर राजनीति गर्मा रही है क्योंकि विधानसभा की सदस्यता के लिए अयोग्य करार दिए गए जद (एस) विधायक ए एच विश्वनाथ ने बीते सप्ताह पूर्ववर्ती एच डी कुमारस्वामी सरकार पर फोन टैप करने और उनके समेत 300 से अधिक नेताओं की जासूसी कराने के आरोप लगाए थे.
सिद्धरमैया, एम. मल्लिकार्जुन खड़गे और गठबंधन सरकार में गृहमंत्री रहे एम बी पाटिल समेत कांग्रेस नेताओं ने जांच की मांग की है, जबकि पार्टी के एक अन्य अहम नेता और पूर्व मंत्री डीके शिवकुमार ने आरोपों को खारिज किया है और वह कुमारस्वामी के साथ खड़े होते प्रतीत हुए.
खबरों के अनुसार सिद्धरमैया के करीबी लोगों के फोन भी निगरानी में थे, जो उस समय गठबंधन समन्वयक समिति के प्रमुख थे.
पूर्व मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टार समेत बीजेपी के कई नेताओं ने कुमारस्वामी पर अपनी सरकार बचाने के लिए इस प्रकरण के पीछे होने का आरोप लगाया है.
विधानसभा में विश्वास मत हारने के बाद पिछले महीने गठबंधन सरकार गिर गई थी.
इन आरोपों से इनकार कर चुके कुमारस्वामी ने सीबीआई जांच की घोषणा पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ‘‘उन्हें कोई भी जांच करने दीजिये, चाहे वह सीबीआई या किसी अंतरराष्ट्रीय एजेंसी से जांच हो, या उन्हें ट्रंप (अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप) से बात करने दीजिये और उनकी ओर से उसकी जांच कराने दीजिये.’’
उन्होंने मुद्दे के कवरेज के लिए इलेक्ट्रानिक मीडिया पर भी निशाना साधा. उन्होंने आरोप लगाया कि उसका इरादा और प्रयास उन्हें राज्य के लोगों से दूर करने का है.
उन्होंने कहा कि उन्हें नहीं पता कि उनका नाम फोन टैपिंग मामले से क्यों जोड़ा जा रहा है. उन्होंने कहा,‘‘यदि मैं इसमें शामिल होता तो मैं घबराता, मैं जांच के लिए तैयार हूं…मेरी ओर उंगली उठाने के लिए…लेशमात्र भी कुछ नहीं है.’’
जद (एस) नेता ने येदियुरप्पा से यह भी कहा कि वह पूर्ववर्ती भाजपा सरकार के कार्यकाल के साथ ही सिद्धरमैया सरकार के कार्यकाल को भी सीबीआई जांच के दायरे में लायें.
कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्धरमैया ने एक ट्वीट कर सीबीआई जांच का स्वागत करते हुए उम्मीद जताई कि बीजेपी सीबीआई का इस्तेमाल ‘‘राजनीतिक बदले की कार्रवाई’’ के लिए नहीं करेगी.
वहीं, प्रदेश कांग्रेस ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर कहा कि टेलीफोन टैपिंग ‘‘झूठ का पुलिंदा’’ और नफरत की राजनीति के लिए एक षड्यंत्र है.
सिद्धरमैया ने एक अन्य ट्वीट में कहा कि कर्नाटक में ‘ऑपरेशन कमल’ के आरोप फोन टैपिंग के आरोप जितने ही गंभीर हैं. उन्होंने कहा, ‘‘मैं बीएस येदियुरप्पा से अनुरोध करता हूं कि कथित ‘ऑपरेशन कमल’ की भी जांच का आदेश दें.’’
उन्होंने कहा,‘‘मैंने सुना है कि उन्होंने फोन टैपिंग मामले में मेरी सलाह पर कार्य किया और उम्मीद करता हूं कि वे इस मुद्दे में भी कार्रवाई करेंगे.’
प्रदेश कांग्रेस ने आरोप लगाया कि येदियुरप्पा ‘आपरेशन कमल’ के जरिये ‘अनैतिक’ तरीके से पिछले दरवाजे से मुख्यमंत्री बनकर एक ‘‘भूमिगत अपराधी’’ की तरह व्यवहार कर रहे हैं.