गेहूं का एमएसपी 85 रुपये प्रति क्विंटल बढ़ा
गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 85 रुपये बढ़ाकर 1,925 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है. वहीं दलहनों के एमएसपी में 325 रुपये क्विंटल तक की वृद्धि की गई है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति (सीसीईए) की बैठक में यह निर्णय किया गया.
एमएसपी वह दर है जिस मूल्य पर सरकार किसानों को से अनाज खरीदती है.
बैठक के बाद सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने संवाददाताओं से कहा, ”किसानों की आय बढ़ाने की पहल के तहत मंत्रिमंडल ने चालू वर्ष के लिए रबी फसलों के लिए एमएसपी बढ़ाने का फैसला किया है.”
सीसीईए ने 2019-20 के लिये गेहूं का एमएसपी 85 रुपये क्विंटल बढ़ाकर 1,925 रुपये प्रति क्विंटल किया है. पिछले साल यह 1,840 रुपये प्रति क्विंटल था.
चालू फसल वर्ष के लिये जौ का एमएसपी भी 85 रुपये बढ़ाकर 1,525 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है जो कि पिछले साल 1,440 रुपये प्रति क्विंटल था.
दाल की खेती को प्रोत्साहित करने के लिये मसूर का एमएसपी 325 रुपये बढ़ाकर 4,800 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया जो पिछले साल 4,475 रुपये प्रति क्विंटल पर था.
इसी प्रकार, चना का न्यूनतम समर्थन मूल्य 255 रुपये बढ़ाकर 4,875 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है. इससे पिछले साल यह 4,620 रुपये प्रति क्विंटल था.
तिलहन के मामले में रेपसीड/सरसों का एमएसपी 2019-20 के लिए 225 रुपये बढ़ाकर 4,425 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है. फसल वर्ष 2018-19 में यह 4,200 रुपये प्रति क्विंटल था.
सॉफ्लावर का न्यूनतम समर्थन मूल्य 270 रुपये बढ़ाकर 5,215 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है. इससे पिछले साल इसका एमएसपी 4,945 रुपये प्रति क्विंटल था.
रबी फसलों के लिए एमएसपी की घोषणा कृषि लागत एवं मूल्य आयोग (सीएसीपी) की न्यूनतम समर्थन मूल्य के बारे में की गई सिफारिशों के अनुरूप है.
रबी मौसम की फसलों में गेहूं, चना, सरसों मुख्य फसल होती है.