मोदी सरकार ने पूर्ण बजट में जेंडर बजटिंग की बात की है. नारी तू नारायणी जैसे नारे भी दिए गए लेकिन क्या वाकई ये कथन सही अर्थों में जमीन पर उतर पा रहा है? क्या सोचते हैं देश की महिला किसान? क्या है उनकी चिंताएं?